विद्यापति का सौन्दर्य वर्णन (vidhyapati ka saundarya varnan)
Manjoo JNU Blogs
January 19, 2018
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विद्यापति का सौन्दर्य वर्णन
“वास्तव में जीवन सौन्दर्य की आत्मा है।
सामंजस्य की रेखाओं में जितनी मूर्तिमत्ता पाता हूँ, विषमताओं में नहीं।
ज्यों-ज्यों हम बाह्य जीवन की विविधताओं में उलझते जाते हैं, त्यों-त्यों इसके
मूलगत सौन्दर्य के भूलते जाते हैं।” – (महादेवी)
सौन्दर्य चेतना का उज्ज्वल
वरदान है, सौन्दर्य ही जीवन...